उत्तर भारत में लू का कहर: पंजाब, हरियाणा और हिमाचल भीषण गर्मी की चपेट में, राहत की उम्मीद अब बारिश पर

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पूरा उत्तर भारत इस समय भीषण गर्मी और लू की चपेट में है। पंजाब, हरियाणा और हिमाचल प्रदेश में तापमान रिकॉर्ड तोड़ स्तर तक पहुँच चुका है, जिससे जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया है। भारतीय मौसम विभाग ने पंजाब-हरियाणा में रेड अलर्ट जारी किया है और लोगों से विशेष सावधानी बरतने की अपील की है। दिन के समय आवश्यक न हो तो घर से बाहर न निकलने की चेतावनी दी गई है, क्योंकि तापमान 47 डिग्री सेल्सियस तक पहुँच रहा है। यह स्थिति कम से कम अगले तीन से चार दिनों तक बनी रहने की संभावना है, जिसके बाद बारिश की संभावना के चलते थोड़ी राहत की उम्मीद की जा सकती है।

पंजाब में बठिंडा सबसे गर्म जिला रहा, जहां एयरफोर्स स्टेशन पर अधिकतम तापमान 47.6 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। वहीं अमृतसर में 45.8 डिग्री, गुरदासपुर में 44.5, पटियाला में 43.6 और जालंधर में 43 डिग्री तापमान दर्ज हुआ। गर्मी की यह भयावह स्थिति इतनी गंभीर हो गई कि बुधवार को दो लोगों की मौत की पुष्टि हुई। गुरदासपुर रेलवे स्टेशन पर हिमाचल से लौट रहे 62 वर्षीय विजय कुमार की लू के कारण मौत हो गई, वहीं बाबा बकाला साहिब क्षेत्र के कोटली गांव के 33 वर्षीय युवक अवतार सिंह की भी लू लगने से जान चली गई। यह घटनाएं दर्शाती हैं कि गर्मी अब केवल असहनीय नहीं, बल्कि जानलेवा साबित हो रही है।

पंजाब के सिविल सर्जन ने जनता के लिए एक विस्तृत एडवाइजरी जारी की है, जिसमें बताया गया है कि नवजात शिशु, गर्भवती महिलाएं, बुजुर्ग, मजदूर और मोटे लोग हीट स्ट्रोक के सर्वाधिक शिकार हो सकते हैं। उन्होंने कहा कि लोगों को सुबह और शाम के समय ही घर से बाहर निकलना चाहिए। हर आधे घंटे में पानी पीने की सलाह दी गई है, भले ही प्यास न लगी हो। दिल, किडनी या लीवर की बीमारी से ग्रसित लोग चिकित्सक से परामर्श लेकर ही तरल पदार्थों का सेवन बढ़ाएं। गर्मियों में हल्के रंग के सूती कपड़े, टोपी, दुपट्टा या छाते का प्रयोग आवश्यक बताया गया है। नंगे पैर बाहर निकलने से बचने और सिर को गीले कपड़े से ढकने की सलाह दी गई है। मौसमी फल और सब्जियां जैसे तरबूज, खीरा, टमाटर खाना, और आंखों की सुरक्षा के लिए काले चश्मे का प्रयोग भी जरूरी बताया गया है।

राजस्थान के श्रीगंगानगर में तापमान 48 डिग्री तक पहुंच गया है जो सामान्य से 6.5 डिग्री ज्यादा है। वहीं पाकिस्तान के कई इलाकों में पारा 50 डिग्री सेल्सियस के पार जा चुका है। इन सभी संकेतों से पता चलता है कि उत्तर-पश्चिम भारत ही नहीं, बल्कि पूरा उपमहाद्वीप इस समय विकराल गर्मी की चपेट में है।

चंडीगढ़ में भी लोगों को रातों में वैसी ही गर्मी झेलनी पड़ रही है जैसी आमतौर पर शिमला में दिन के समय भी नहीं होती। मंगलवार की रात चंडीगढ़ का न्यूनतम तापमान 31.7 डिग्री रहा, जबकि शिमला का अधिकतम तापमान मात्र 28.5 डिग्री दर्ज किया गया। हालांकि हवाओं के कारण दिन का तापमान 44 से घटकर 41.7 डिग्री पर थमा, लेकिन उमस भरी गर्मी से राहत नहीं मिल सकी।

हिमाचल प्रदेश भी अब गर्मी की गिरफ्त में आ गया है। शिमला मौसम विज्ञान केंद्र के अनुसार, 13 जून तक पूरे प्रदेश में मौसम साफ और धूप वाला रहेगा। ऊना में पारा 42 डिग्री तक पहुँच चुका है, जबकि मंडी में 39 डिग्री के साथ उमस भरी गर्मी दर्ज की गई है। पिछले दिनों हुई बारिश से कुछ राहत जरूर मिली थी, लेकिन तेज अंधड़ और ओलावृष्टि ने फसलों को बर्बाद कर किसानों को नुकसान पहुँचाया।

हरियाणा में भी गर्मी का कहर जारी है। सिरसा सबसे गर्म जिला रहा जहां तापमान 46.6 डिग्री दर्ज हुआ। मौसम विभाग ने 9 जिलों में 13 जून तक रेड अलर्ट जारी किया है और अधिकतम तापमान 48 डिग्री तक पहुँचने की संभावना जताई है। 14 से 16 जून के बीच हल्की धूलभरी हवाओं और बूंदाबांदी की संभावना है, जिससे तापमान में थोड़ी राहत मिल सकती है। गुरुग्राम के डिप्टी कमिश्नर ने लोगों को सुबह 11 से शाम 4 बजे तक घरों में रहने की सलाह दी है और चेहरा व सिर ढककर ही बाहर निकलने की बात कही है।

मौसम विभाग ने उम्मीद जताई है कि 13 जून के बाद हिमाचल में कुछ हिस्सों में बारिश शुरू हो सकती है, जिससे चंडीगढ़ और आसपास के इलाकों में भी बारिश के आसार बनेंगे। फिलहाल, पूरे उत्तर भारत में गर्मी से जनजीवन प्रभावित है और राहत की उम्मीद सिर्फ आसमान से बारिश की बूंदों पर टिकी है।

यह एक वेब जनित न्यूज़ वेब स्टोरी है।
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